राजस्थान सरकार ने जयपुर नगर निगम हेरिटेज मेयर मुनेश गुर्जर को निलंबित कर दिया है। शनिवार देर रात 1:45 पर स्वायत्त शासन विभाग ने मुनेश के निलंबन के आदेश जारी किए। इधर, निलंबन के बाद मुनेश गुर्जर ने मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास के खिलाफ भी मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने कहा कि खाचरियावास और मेरी कॉल डिटेल निकलवाकर जांच कर ली जाए। खाचरियावास ने कहा कि गुर्जर ने उनके साथ विश्वासघात किया है।
निलंबन का ऑर्डर जारी कर विभाग के डायरेक्टर हृदेश कुमार शर्मा ने बताया- भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) ने मेयर पति सुशील गुर्जर और उनके दो दलालों को 2 लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया था।
इस दौरान उनके घर से 41 लाख से ज्यादा की नकदी भी बरामद हुई है। ऐसे में माना जा रहा है कि ACB की टीम जल्द ही मेयर मुनेश से भी पूछताछ कर सकती है।
वहीं, कार्रवाई के दौरान परिवादी के पट्टे की फाइल भी मेयर निवास से मिली है, मेयर मुनेश गुर्जर उस समय घर पर मौजूद थीं।
उनकी मौजूदगी में मेयर पति ने 2 लाख रुपए की रिश्वत ली थी। इस पूरे मामले की शुरुआती जांच में मेयर की मिली-भगत का शक है। इस बीच निलंबित मेयर ने मंत्री प्रताप सिंह खाचारियावास के लगाए आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा कि यदि मंत्री सच्चे हैं तो उनकी और मेरी कॉल डिटेल निकलवा कर जांच कर लीजिए।
निलंबन का ऑर्डर जारी कर विभाग के डायरेक्टर हृदेश कुमार शर्मा ने बताया- भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) ने मेयर पति सुशील गुर्जर और उनके दो दलालों को 2 लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया था।
इस दौरान उनके घर से 41 लाख से ज्यादा की नकदी भी बरामद हुई है। ऐसे में माना जा रहा है कि ACB की टीम जल्द ही मेयर मुनेश से भी पूछताछ कर सकती है।
वहीं, कार्रवाई के दौरान परिवादी के पट्टे की फाइल भी मेयर निवास से मिली है, मेयर मुनेश गुर्जर उस समय घर पर मौजूद थीं।
उनकी मौजूदगी में मेयर पति ने 2 लाख रुपए की रिश्वत ली थी। इस पूरे मामले की शुरुआती जांच में मेयर की मिली-भगत का शक है। इस बीच निलंबित मेयर ने मंत्री प्रताप सिंह खाचारियावास के लगाए आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा कि यदि मंत्री सच्चे हैं तो उनकी और मेरी कॉल डिटेल निकलवा कर जांच कर लीजिए।